एमआईईटी मेरठ में 1156 विद्यार्थियों को दीक्षांत समारोह में मिली डिग्रियां


पश्चिमी उत्तर प्रदेश में ए.के.टी.यू. का मजबूत आधार स्तंभ बना एमआईईटी
– “एआई को अपनाना समय की आवश्यकता” : कुलपति प्रो. जे.पी. पांडे
मेरठ।
मेरठ इंस्टीट्यूट ऑफ इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी (एमआईईटी) में शनिवार को भव्य दीक्षांत समारोह का आयोजन किया गया, जिसमें डॉ. ए.पी.जे. अब्दुल कलाम टेक्निकल यूनिवर्सिटी, लखनऊ से संबद्ध विभिन्न पाठ्यक्रमों के कुल 1156 विद्यार्थियों को डिग्रियां प्रदान की गईं। समारोह का शुभारंभ दीप प्रज्वलन के साथ हुआ, जिसमें ए.के.टी.यू. के कुलपति प्रो. (डॉ.) जे.पी. पांडे, टेक्निकल एजुकेशन वेस्ट ज़ोन के संयुक्त निदेशक मोहम्मद साबिर, रीजनल हायर एजुकेशन की संयुक्त निदेशक डॉ. मोनिका सिंह, संस्थान के चेयरमैन विष्णु शरण, वाइस चेयरमैन पुनीत अग्रवाल, कैंपस निदेशक डॉ. संजय कुमार सिंह, आकांक्षा अग्रवाल एवं रजिस्ट्रार शिवपूजन सिंह ने सहभागिता की। खालसा इंटर कॉलेज, थापर नगर, मेरठ के छात्रों द्वारा प्रस्तुत बैंकपाइप बैंड की आकर्षक प्रस्तुति ने समारोह की शुरुआत को भावपूर्ण बना दिया।
इस अवसर पर संस्थान के चेयरमैन विष्णु शरण ने कुलपति को एआईसीटीई आइडिया लैब में छात्रों द्वारा तैयार श्रीराम मंदिर की 3डी प्रतिमा भेंट की। वहीं, कैंपस निदेशक डॉ. संजय कुमार सिंह ने संस्थान की वार्षिक प्रगति रिपोर्ट प्रस्तुत की।
इस दीक्षांत समारोह में बीटेक के 791, बी.फार्मा के 73, एमबीए के 166, एमसीए के 97, एम.टेक के 8 और एम.फार्मा के 21 विद्यार्थियों को डिग्रियां प्रदान की गईं। विभिन्न पाठ्यक्रमों के शीर्ष तीन विद्यार्थियों को गोल्ड, सिल्वर एवं ब्रॉन्ज मेडल से सम्मानित किया गया। झलक जैन (बीटेक – कंप्यूटर साइंस डाटा साइंस) को विश्वविद्यालय में सर्वोच्च अंक प्राप्त करने पर चांसलर अवॉर्ड और गोल्ड मेडल,निकिता सिंह (इलेक्ट्रॉनिक्स एंड कम्युनिकेशन) को यूनिवर्सिटी टॉपर बनने पर गोल्ड मेडल, शिवा चौधरी (एम.टेक – कंप्यूटर साइंस) को सिल्वर मेडल,हर्ष चौहान (बीटेक) को नवाचार क्षेत्र में उत्कृष्ट योगदान के लिए स्टार्टअप इनोवेशन अवॉर्ड प्रदान किया गया।
अपने संबोधन में कुलपति प्रो. (डॉ.) जे.पी. पांडे ने छात्रों से आत्मविकास, निर्णय क्षमता और तकनीकी दक्षता को जीवन का अनिवार्य हिस्सा बनाने का आह्वान किया। उन्होंने श्रीमद्भगवद्गीता के प्रथम श्लोक का उल्लेख करते हुए छात्रों को जीवन की चुनौतियों से साहसपूर्वक निपटने की प्रेरणा दी। उन्होंने कहा, “आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस अब तीसरे चरण में प्रवेश कर चुका है, जहां यह खुद को स्वतः अपडेट कर सकता है। यदि समय रहते हमने इसे नहीं अपनाया, तो यह मानवीय भूमिकाओं की जगह ले सकता है।”
डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम टेक्निकल यूनिवर्सिटी की पहचान को पश्चिमी उत्तर प्रदेश में मजबूती से स्थापित करने में एमआईईटी मेरठ की भूमिका अत्यंत महत्वपूर्ण रही है। मेरठ में स्थित सात से अधिक विश्वविद्यालयों के बीच भी एमआईईटी ने अपनी विशिष्ट पहचान बनाए रखते हुए शैक्षिक गुणवत्ता, तकनीकी नवाचार, इन्क्यूबेशन, और स्टार्टअप कल्चर के समावेश से ऐसा शिक्षा-औद्योगिक इकोसिस्टम तैयार किया है, जो अकादमिक व औद्योगिक क्षेत्रों के बीच सशक्त सेतु का कार्य कर रहा है।
आज एमआईईटी न केवल मेरठ मंडल, बल्कि सम्पूर्ण पश्चिमी उत्तर प्रदेश की तकनीकी शिक्षा की गरिमा, गुणवत्ता और नेतृत्व का प्रतीक बन चुका है।
समारोह के उपरांत आयोजित इंडस्ट्री-अकादमिक इंटरैक्शन सत्र में औद्योगिक जगत से जुड़ी चुनौतियों और उनके समाधान पर विचार-विमर्श हुआ। इस अवसर पर आईटीसी प्लांट सहारनपुर के हेड अनूप कुमार मिश्रा, मेरठ मैनेजमेंट एसोसिएशन एवं इंडियन इंडस्ट्री एसोसिएशन के पदाधिकारी भी उपस्थित रहे।

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