सोशल मीडिया पर फेल रही अश्लील सामग्री,मासूम बच्चों को देखने के लिए किया जा रहा मजबूर..!

सोशल मीडिया पर फेल रही अश्लील सामग्री,मासूम बच्चों को देखने के लिए किया जा रहा मजबूर..!


*फेसबुक,मोज़, इंस्टाग्राम और टेलीग्राम व मैसेंजर पर यौन शोषण के वीडियो की भरमार..!*

यह कैसा जमाना ओर कैसे लोग सब तरफ एक ही चीज देखी जा रही हैं वह हैं सोशल मीडिया पर अश्लीलता व यौन शोषण!आखिर इसका जिम्मेदार कौन हैं?आज कल के युवाओं में सोशल मीडिया का नशा इस कदर चढ़ चुका है जिसकी गिरफ्त में आकर बच्चों का बचपन खराब हो रहा है!बल्कि यह फेसबुक,मोज़,इंस्टाग्राम और टेलीग्राम व मैसेंजर पर बाल यौन शोषण के वीडियो की भरमार है!और कुछ मिनट के बाद अश्लीलता से भरे कुछ साइडो पर मैसेज के माध्यम से भी अपने आप आ जाते हैं जिसे कोई देखना भी नही चाहता है!पिछले कुछ वर्षों में बाल यौन शोषण के मामले बड़े हुए नजर आ रहें हैं तथा बच्चों से जुड़ी अश्लील सामग्री भी काफी हद तक बाल यौन शोषण और उत्पीड़न जैसे अपराधों के लिए जिम्मेदार है! बच्चों से जुड़ी यौन सामग्री को लोगों तक पहुंचाने के लिए अपराधी मासूमों को यौन कृत्य करने के लिए मजबूर करते हैं!ऐसे बच्चे चंचल और कोमल होते हैं, और वे अश्लील सामग्री तथा यौन शोषण जैसे कृत्यों से अनभिज्ञ होते हैं!जब उनका इस्तेमाल अश्लील सामग्री तैयार करने के लिए किया जाता है तो उनके मन पर एक दर्दनाक छाप हमेशा के लिए रह जाती है!जिसे व ताउम्र भुला नहीं पाते,ये मासूम बच्चे भावनात्मक और मानसिक रूप से टूट जाते हैं!अब तो बाल पोर्नोग्राफी को डाउनलोड करना और देखने को अपराध की श्रेणी में लाने से बच्चों से संबंधित यौन अपराधों में कमी आएगी!ऐसे यौन अपराधों के प्रति बच्चों को जागरूक करना भी आवश्यक है! बल्कि इंटरनेट, मोबाइल, सोशल मीडिया के अश्लील सामग्री पर अविलंब रोक लगनी चाहिये।