डॉ. भीमराव अंबेडकर जी की जयंती के उपलक्ष्य में अनुसूचित जाति के विद्यार्थियों के मध्य भाषण प्रतियोगिता का द्वितीय चरण सफलतापूर्वक संपन्न



मेरठ। मंगलवार को चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय, मेरठ के अटल सभागार में साहित्यिक-सांस्कृतिक परिषद् एवं शिक्षा विभाग के संयुक्त तत्वावधान में, उत्तर प्रदेश शासन के निर्देशानुसार, डॉ. भीमराव अंबेडकर जी की जयंती (14 अप्रैल, 2025) के उपलक्ष्य में अनुसूचित जाति के विद्यार्थियों के मध्य भाषण प्रतियोगिता का द्वितीय चरण सफलतापूर्वक संपन्न हुआ। इस प्रतियोगिता में विश्वविद्यालय स्तर के एवं विभन्न कोलेजो के 17 चयनित विजेता विद्यार्थियों ने भाग लिया। प्रतिभागियों ने डॉ. भीमराव अंबेडकर के विचार, संविधान निर्माण में उनके योगदान, तकनीकी युग में सामाजिक एवं आर्थिक विषमताएं तथा आधुनिक भारत के समावेशी मार्ग जैसे विषयों पर प्रभावशाली एवं विचारोत्तेजक भाषण प्रस्तुत किए। कार्यक्रम में साहित्यिक-सांस्कृतिक परिषद् की अध्यक्षा डॉ. नीलू जैन गुप्ता  एवं परिषद् के संयोजक डॉ. के.के. शर्मा ने डॉ. अंबेडकर के संघर्ष, विचारधारा, संविधान निर्माण में उनकी भूमिका एवं सामाजिक समरसता की प्रासंगिकता पर विस्तार से अपने विचार प्रस्तुत किए, जो छात्रों के लिए अत्यंत प्रेरणादायी सिद्ध हुए। प्रतियोगिता में प्रस्तुत भाषणों का निष्पक्ष मूल्यांकन निर्णायक मंडल द्वारा किया गया, जिसमें डॉ. विजेता गौतम (अंग्रेज़ी विभाग, चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय), श्री सुमनेश सुमन (राष्ट्रीय कवि), एवं डॉ. दीक्षा रानी (अर्थशास्त्र विभाग, इस्माइल कॉलेज, मेरठ) शामिल रहे। निर्णायकों के मूल्यांकन के अनुसार, कशिश (चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय, मेरठ) को प्रथम स्थान, कुमारी भारती (एस.एम.पी.जी. कॉलेज, मेरठ) को द्वितीय स्थान एवं शैलजा पारस (चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय, मेरठ) को तृतीय स्थान प्राप्त हुआ, जबकि कुमारी आदित्या सिंह (एस.एस.वी.पी.जी.कॉलेज हापुड) एवं वैभव चादन (एस.डी.कॉलेज गाजियाबाद) को सांत्वना पुरस्कार प्रदान किए गए। इस आयोजन के समन्वयक डॉ. जितेन्द्र सिंह गोयल, सहायक प्रोफेसर, शिक्षा विभाग, ने पूरे कार्यक्रम की योजना, समन्वय एवं संचालन में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाई। आयोजन की सफल रूपरेखा तैयार करने और उसके निष्पादन में डॉ. मुनेश कुमार, डॉ. अर्चना चौधरी, डॉ. ए.के. सिंह एवं डॉ. धर्मेन्द्र कुमार ने सक्रिय सहयोग प्रदान किया। कार्यक्रम का संचालन अपेक्षा चौधरी द्वारा अत्यंत प्रभावशाली एवं कुशलता से किया गया। डॉ. मुनेश कुमार द्वारा कार्यक्रम का धन्यवाद प्रस्ताव प्रस्तुत किया गया, जिन्होंने सभी अतिथियों, प्रतिभागियों एवं सहयोगी सदस्यों के प्रति आभार प्रकट किया। यह आयोजन विद्यार्थियों में संविधान, सामाजिक न्याय एवं समावेशिता के मूल्यों के प्रति जागरूकता बढ़ाने की दिशा में एक सराहनीय पहल सिद्ध हुआ।